
जंग जीतने के बाद तालिबान के छूटे पसीने, मांगी EU की मदद
वार्ता का मतलब यूरोपियन यूनियन द्वारा तालिबान के अंतरिम सरकार को मान्यता
नई दिल्ली: अफगानिस्तान की जंग जीतने के बाद तालिबान में सत्ता की वापसी तो हुई है मगर युद्धस्तर मुल्क में शासन चलाने में चरमपंथी संगठन के पसीने छूट रहे हैं। इसी के चलते तालिबान और यूरोपियन यूनियन के अधिकारियों के बीच पिछले कुछ दिनों से लगातार बातचीत का दौर चल रहा है। वहीं अब तालिबानियों ने अफगानिस्तान के एयरपोर्ट को चालू रखने के लिए यूरोपियन यूनियन से मदद मांगी। इसी के चलते यूरोपियन यूनियन के अधिकारियों ने युद्ध ग्रस्त मुल्क में जारी माननीय स्थित को लेकर गंभीर चिंता जताई।
गौरतलब है कि तालिबान और यूनियन यूरोपियन के बीच जारी वार्ता के लिए कतर की राजधानी दोहा में वरिष्ठ अधिकारियों को भेजा गया है यह वार्ता आज अमेरिका और तालिबान के बीच 2 हफ्ते की वार्ता के ठीक पहले हुई है। आपको बता दें कि तालिबान अमेरिका की वार्ता भी दोहा में होने वाली है वही वार्ता का मतलब यूरोपियन यूनियन द्वारा तालिबान के अंतरिम सरकार को मान्यता देना नहीं है लेकिन यूरोपियन यूनियन और अफगान लोगों के हित में यूरोपियन यूनियन के परिचालन जुड़ाव का हिस्सा है।
मानवी स्थिति पर की चर्चा
एक बयान जारी करते हुए यूरोपीयन यूनियन ने कहा कि तालिबान ने उन अफ़गानों के लिए मासी के अपने वादे पर कायम रहने की प्रतिबद्धता जताई है उन्होंने अमेरिका और उसके सहयोगियों के साथ पश्चिम समर्थक सरकार के दौरान तालिबान के खिलाफ काम किया। यूरोपियन यूनियन ने मानवीय सहायता मुहैया कराने की प्रतिबद्धता जताते हुए कहा कि तालिबान पर समावेशी सरकार बनाने के लिए दवा भी डाला है इसने लड़कियों की शिक्षा पर भी जोर डाला।