मॉनसून सत्र के आखिरी दिन उच्च सदन में जमकर हुआ हंगामा
उच्च सदन में सुरक्षाकर्मियों की अभूतपूर्व तैनाती देखने को मिली ताकि विपक्षी सदस्यों के मेज पर चढ़ने जैसी घटना दोबारा ना सके, लेकिन इसके बावजूद सदन में विपक्षी सदस्यों ने बेल के सामने आकर जमकर नारेबाजी की और कागज फाड़कर उछाले।
नई दिल्ली : बुधवार को उच्च सदन में सुरक्षाकर्मियों की अभूतपूर्व तैनाती देखने को मिली ताकि विपक्षी सदस्यों के मेज पर चढ़ने जैसी घटना दोबारा ना सके, लेकिन इसके बावजूद सदन में विपक्षी सदस्यों ने बेल के सामने आकर जमकर नारेबाजी की और कागज फाड़कर उछाले। कुछ सदस्य आसन की ओर बढ़ने का प्रयास करते हुए मार्शलों से उलझ गए।
सदन के नेता व केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने कहा है विपक्ष के सांसदों ने चेयरमैन के पैनल, टेबल स्टाफ और सेक्रेटरी जनरल पर हमले का प्रयास किया। पीयूष गोयल ने यह भी आरोप लगाया कि महिला सुरक्षाकर्मी का गला घोंटने का प्रयास किया गया। गोयल ने पूरे मामले की जांच के लिए विशेष कमेटी के गठन और सख्त कार्रवाई की मांग की है। वहीं, राज्यसभा से बाहर आने के बाद NCP प्रमुख शरद पवार ने कहा कि बाहर से लोगों को लाकर महिला सांसदों को पीटा गया है।
पीयूष गोयल ने कहा, ”विपक्ष की पूरी मंशा आज दिखी है, जिस तरह पैनल चेयरमैन, टेबल स्टाफ और सेक्रेटरी जनरल पर हमले का प्रयास किया गया। एक निंदनीय घटना में एक महिला सुरक्षकर्मी का गला घोंटने का प्रयास किया गया। विपक्षी सदस्यों ने मुझे और संसदीय कार्यमंत्री को चैंबर से बाहर निकलने से रोकने का प्रयास किया। यह संसद के इतिहास में दुर्भाग्यपूर्ण है। सदन और देश की ओर से इस तरह के व्यवहार को कभी सहन नहीं किया जाना चाहिए।”
सदन की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित होने से पहले पीयूष गोयल ने पूरे सत्र के दौरान विपक्षी दलों द्वारा किए गए हंगामे और इस दौरान कागज फाड़कर आसन की ओर फेंकने सहित अन्य विभिन्न घटनाओं का उल्लेख किया और आरोप लगाया कि विपक्षी दल सत्र की शुरुआत से ही संसद ना चलने देने की ठानकर आए थे। उन्होंने कहा कि आज पीठासीन अध्यक्ष, महासचिव पर हमला करने की कोशिश की गई और सबसे ”निदंनीय यह हुआ कि एक महिला सुरक्षाकर्मी की गला घोंटने की कोशिश की गई।”
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