
दिल्ली गाजीपुर बॉर्डर पर धरने पर बैठे किसान लखनऊ में भी करेंगे आंदोलन
नई दिल्ली। दिल्ली-एनसीआर के बॉर्डर पर तीनों केंद्रीय कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे किसानों को साढ़े आठ महीने से भी ज्यादा समय हो चुका हैं। केंद्र सरकार और संयुक्त किसान मोर्चा के बीच कई महीनों से बातचीत बंद है। कृषि कानूनों के विरोध में भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत बहुत सक्रिय हैं।
उन्होंने अपने हालिया बयान में कहा कि गाजीपुर बॉर्डर की तरह ही दिल्ली यूपी बॉर्डर पर किसानों का धरना प्रदर्शन जारी रहेगा। दिल्ली-एनसीआर के चारों बॉर्डर से किसान हटने को तैयार नहीं हैं। शुक्रवार को लखनऊ पहुंचने पर किसान नेता राकेश टिकैत के साथ सपा और आप कार्यकर्ता उनके साथ दिखाई दिए। किसान नेता राकेश टिकैत ने लखनऊ जाने वक्त कहा कि जब तक तीनों केंद्रीय कृषि कानून वापस नहीं लिए जाते, तब तक किसानों अपना प्रदर्शन दिल्ली बॉर्डर पर खत्म नहीं करेगा।
संयुक्त किसान मोर्चा ने घोषणा कि वह आम जनता से और विशेषकर किसानों से बीजेपी के बहिष्कार का निवेदन करेंगे। आंदोलन को मजबूत करने के दावे के साथ मिशन यूपी और उत्तराखंड भी शुरू होगा और जब तक तीनों कृषि कानून वापस नहीं होते तब तक किसान आंदोलन जारी रहेगा।
उत्तर प्रदेश सरकार को किसान नेता राकेश टिकैत ने पिछले महीने लखनऊ में चेतावनी दी थी कि लखनऊ को भी दिल्ली के जैसे बनाएंगे। दिल्ली में चारों तरफ के रास्तों को जिस तरह सील किया गया , वैसे ही लखनऊ को भी घेरा जाएगा। इसकी तैयारी हम कर रहें हैं।
भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने कहा कि सरकार जब तक नए कृषि कानूनों को वापस नहीं करती, तब तक हम घर वापस नहीं जायेंगे। किसानों से राकेश टिकैत ने कहा कि इस वक्त किसान हित में चल रही लड़ाई में कदम से कदम मिलाकर लड़ने का है। किसान आंदोलन में हम सब इकट्ठा होकर सहभागिता दे।