
महिला पुलिस कर्मी से यौन उत्पीड़न मामले में एसपी की रिहाई
महिला पुलिस कर्मियों से कार्य स्थल पर उत्पीड़न की शिकायत
महिला पुलिस कर्मी से यौन उत्पीड़न मामले में फंसे एडिशनल एसपी प्रवीर ठाकुर को हाईकोर्ट से मिली राहत। न्यायाधीश ज्योत्सना रेवाल दुआ की खंडपीठ ने CCS रूल्स के तहत अनुशासनात्मक कमेटी के निर्देश पर विभागीय जांच के बजाय कार्य स्थल पर महिलाओं का लैंगिक उत्पीड़न कानून के तहत ICC की जांच को गलत माना है। महिला पुलिस कर्मी से यौन उत्पीड़न मामले में एसपी की रिहाई|
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साथ ही कोर्ट ने पाया कि एडिशनल एसपी को जो मेमोरेंडम ICC ने दिया, वह विभागीय जांच कमेटी को देना था। अब उसके खिलाफ पुलिस मुख्यालय को विभागीय जांच कराने पर फैसला लेना है। बता दें कि शिमला में तैनात एक महिला हेड कांस्टेबल ने 13 मई को महिला थाने में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक के खिलाफ शारीरिक और मानसिक उत्पीड़न का केस दर्ज करवाया था।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक पर ही महिला पुलिस कर्मियों से कार्य स्थल पर उत्पीड़न की शिकायत की जांच करने का जिम्मा था। ऐसे में पुलिस मुख्यालय ने FIR के साथ कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न रोकथाम कमेटी को भी जांच करने के आदेश दे दिए। इसे एडिशनल SP ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी।