
MP: बंगाल की खाड़ी में बना चक्रवात, इन जिलों में बारिश के आसार
MP: एक चक्रवात बंगाल की खाड़ी में हवा के ऊपरी भाग में बन गया है। शनिवार को इस सिस्टम के कम दबाव के क्षेत्र में परिवर्तित होने की आशंका है। पूर्वी छोर भी इस सिस्टम के हिमालय की तराई से बंगाल की खाड़ी में बने सिस्टम की तरफ बढ़ने लगा है। शनिवार से इन वेदर सिस्टम के प्रभाव से पूर्वी मध्य प्रदेश और राजधानी भोपाल में भी बरसात होने के आसार हैं। वर्षा की गतिविधियों में रविवार से और तेजी आने की आशंका है।
मौसम विज्ञान केंद्र के मौसम विज्ञानी पीके साहा (MP) के मुताबिक सुबह साढ़े आठ बजे तक शुक्रवार को बैहर में आठ, मलाजखंड में 6.5, बिरसा में पांच, नेपानगर में तीन, आलीराजपुर के कय्ठीवाड़ा में चार, दमोह के बटियागढ़ में तीन, सिंगरोली के सरई में 2.4, गैरतगंज में 1.4, बेगमगंज, रतलाम के सैलाना में दो, सोहागपुर, ग्यारसपुर में एक मिलीमीटर बरसात हुई। मौसम विभाग के मुताबिक अगले 24 घंटों में शहडोल एवं रीवा संभागों के जिलों में तथा कटनी, नरसिंहपुर एवं जबलपुर जिले में कहीं-कहीं गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ सकती हैं।
मौसम विज्ञान केंद्र के पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने बताया कि किसी भी वेदर सिस्टम के एक्टिव नहीं रहने से मध्य प्रदेश में बरसात का दौर लगभग थम गया था। मानसून ट्रफ के पूर्वी और पश्चिमी छोर भी हिमालय की तराई में पहुंच गए थे। बंगाल की खाड़ी में शुक्रवार को हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात के बनने से शुक्रवार से पूर्वी मध्यप्रदेश में बरसात की गतिविधियां शुरू हो गई हैं। शनिवार को हवा के ऊपरी भाग में बना चक्रवात कम दबाव के क्षेत्र में तब्दील हो जाएगा। इससे पूर्वी मप्र के अलावा राजधानी में भी बरसात होने की आशंका है। पूरे प्रदेश में 30 अगस्त को तेज बौछारें पड़ने के आसार हैं। बता दें कि मानसून ब्रेक की स्थिति बनने से मध्य प्रदेश के लगभग 20 जिलों में सूखे का खतरा मंडराने लगा है। मौसम विज्ञानियों का कहना है कि यदि वर्तमान में अच्छी बारिश नहीं होती है, तो प्रदेश के आधे जिलों में स्थिति काफी खराब होने की संभावना है।
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