मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भोपाल में मध्य प्रदेश के पहले मैकेनाइज्ड किचन का शुभारंभ किया। इस मैकेनाइज्ड किचन में एक बार में 20 हजार रोटी और 12 हजार लीटर दाल या सब्जी एवं 125 किलो चावल पक सकते हैं।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि बच्चों के लिए पौष्टिक भोजन की व्यवस्था पुण्य का कार्य है। अक्षय पात्र फाउंडेशन और एचईजी लिमिटेड के साथ मध्य प्रदेश शासन के अनुबंध से भोपाल के निकटवर्ती विद्यालयों के बच्चे लाभान्वित होंगे। किचन शेड का निर्माण 12 करोड़ रुपए की लागत से किया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि यदि शरीर स्वस्थ है तो मन भी स्वस्थ होता है। अन्य संस्थाएं भी बच्चों को भोजन उपलब्ध करवाने और पौष्टिक आहार देने के कार्य के क्षेत्र में आगे आएंगी तो उनका भी स्वागत है। हम बच्चों को बेहतर पोषण दे सकेंगे।
सीएम बोले- बच्चे भगवान का रूप
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी पीएम पोषण शक्ति निर्माण कार्यक्रम संचालित कर रहे हैं, वहीं मध्य प्रदेश सरकार कक्षा आठवीं तक अध्ययनरत बेटे बेटियों के लिए स्कूल प्रांगण में ही मध्यानह भोजन की व्यवस्था कर रही है। अक्षय पात्र फाउंडेशन समर्पित भाव से बच्चों को गुणवत्ता पूर्ण भोजन पहुंचाने का कार्य कर रहा है। भोपाल में इसकी शुरुआत सराहनीय है। स्वामी चंचलापति जी की टीम जो कार्य कर रही वह ईश्वर की आराधना से कम नहीं है। क्योंकि बच्चे ही भगवान का रूप होते हैं। मध्यप्रदेश शासन द्वारा एचईजी से किए गए अनुबंध में शासन द्वारा खाद्यान्न सामग्री दी जाएगी। साथ ही भोजन पकाने की लागत भी सरकार वहन अक्षय पात्र फाउंडेशन का भोपाल में यह प्रथम मेगा किचन है।
अक्षय पात्र फाउंडेशन का 66 वां किचन
अक्षय पात्र फाउंडेशन देश भर में अब तक 65 मैकेनाइज्ड किचन स्थापित कर चुका हैं। भोपाल में यह 66 वां किचन हैं। इसके निर्माण पर 12 करोड़ रुपए की लागत आई है। यह किचन दो साल पहले बनकर तैयार हो गया था, लेकिन कोरोना के चलते स्कूल बंद होने से शुरू नहीं हो सका।