
UP Election 2022: जानिए टिकट को लेकर बीजेपी की क्यों बढ़ी चिंता?
लखनऊ: विधानसभा चुनाव 2022 भाजपा के लिए कितना महत्वपूर्ण है, इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि उत्तर प्रदेश के लिए बीजेपी में बैठकों का दौर खत्म नहीं हो रहा है। कई दौर की बैठकों के बाद भी अब तक बीजेपी सारे उम्मीदवारों के नामों का ऐलान नहीं कर पाई है। गठबंधन के लिए सीटों का पेंच भी अभी फंसा हुआ है।
भाजपा के लिए यूपी क्या मायने रखता है। इसका अंदाजा लगातार हो रही बैठकों से लगाया जा सकता है। यही कारण है कि एक-एक सीट पर रणनीतिकार दम लगाया जा रहा है। रविवार से फिर यूपी में बीजेपी कोर ग्रुप की बैठक हुई शुरू हुई है। इस बैठक में बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, यूपी के सीएम यागी आदित्यनाथ, बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह, डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य और डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा शामिल हुए, लेकिन बैठक पूरी नहीं हुई।
शाह-नड्डा ने अलग से की चर्चा
बैठक खत्म होने के बाद भी करीब ढाई घंटे तक अमित शाह और जेपी नड्डा ने अलग से चर्चा की। सारी माथापच्ची के बाद भी बीजेपी अब तक उम्मीदवारों की तीन लिस्ट जारी कर पाई है। पहली लिस्ट में 107 उम्मीदवारों के नामों का ऐलान किया गया था। दूसरी लिस्ट में सिर्फ दो नाम थे। तीसरी लिस्ट में 85 उम्मीदवारों के नामों का ऐलान किया गया था यानी 403 में से बीजेपी अब तक सिर्फ 194 उम्मीदवारों के नामों का ऐलान कर पाई है।
मामला सिर्फ अपने उम्मीदवारों के ऐलान का नहीं है बल्कि पेंच सहयोगी दलों के साथ सीटों के बंटवारे का भी फंसा है। निषाद पार्टी और अपना दल के साथ मिलकर लड़ने का ऐलान तो हुआ लेकिन, अब तक सीटों का ऐलान नहीं हुआ। निषाद पार्टी इंतजार में है तो वहीं अपना दल सोनेवाल अब तक सिर्फ एक सीट पर अपना उम्मीदवार उतार पाया है।
अपना दल (एस) ने उतारा पहला उम्मीदवार
बीजेपी के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ रही अपना दल (सोनेलाल) ने पार्टी के पहले टिकट के तौर पर एक मुस्लिम उम्मीदवार का ऐलान किया है। रामपुर की स्वार टांडा सीट से समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता आजम खान के मुकाबले हैदर अली खान को उतारा गया है। आज 11 बजे फिर कोर कमेटी एक-एक सीट पर चर्चा करेगी। 25 जनवरी यानी मंगलवार को बीजेपी केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक है। उम्मीद की जा रही है कि सीटों को लेकर बीजेपी इस दिन अपने सारे पत्ते खोल सकती है।