
ब्रेकिंग : इलाहाबाद हाईकोर्ट का बड़ा फैसला, ओबीसी की 18 जातियाँ एससी कैटेगरी में नहीं होंगी शामिल
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प्रयागराज : पिछड़ी जाति (OBC) की 18 जातियों को अनुसूचित जाति यानी एससी (SC) की कैटेगरी में शामिल करने के मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बुधवार को बड़ा फैसला सुनाया है। अदालत ने यूपी सरकार की सभी अधिसूचनाओं (नोटिफिकेशन) को रद्द कर दिया है। यह फैसला चीफ जस्टिस राजेश बिंदल और जस्टिस जेजे मुनीर की डिवीजन बेंच ने लिया है। इन सभी नोटिफिकेशन के अमल होने के पहले ही कोर्ट ने रोक लगा रखी थी।
दरअसल, सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव और योगी सरकार ने अपने कार्यकाल में दो-दो अधिसूचनाएं जारी की थीं। इनमें उत्तर प्रदेश में ओबीसी (OBC) की 18 जातियों को अनुसूचित वर्ग (SC) में शामिल करने का फरमान जारी किया था। इनके विरुद्ध गोरखपुर की संस्था डॉ. भीमराव अंबेडकर ग्रंथालय एवं जन कल्याण समिति ने दो जनहित याचिकाएं दाखिल की थीं।
इन जातियों से जुड़ा था नोटिफिकेशन
OBC की मझवार, कश्यप, कहार, केवट, निषाद, मल्लाह, कुम्हार, धीवर, प्रजापति, बिंद, राजभर, बाथम, धीमान, तुरहा, गोड़िया, मछुआ, मांझी और भर जातियों को SC में शामिल करने का नोटिफिकेशन जारी हुआ था। बता दें कि इस मामले में अबतक कोई सर्टिफिकेट नहीं जारी किए गए थे। याचिकाकर्ता अधिवक्ता राकेश गुप्ता ने कोर्ट में दलील दी थी OBC जातियों को SC कैटेगरी में शामिल करने का अधिकार केवल भारत की संसद को है, इस मामले में राज्यों को कोई अधिकार प्रदत्त नहीं हैं। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने इसी आधार पर एससी सर्टिफिकेट जारी करने पर रोक भी लगाई हुई थी।