
हरियाणा; अब धान की जगह चारा उगाने और खेत खाली रखने पर मिलेंगे 7000 रुपये
हरियाणा सरकार धान की जगह चारा उगाने या अपने खेत खाली रखने पर भी किसानों को मेरा पानी-मेरी विरासत योजना के तहत 7000 हजार रुपये प्रति एकड़ के हिसाब से प्रोत्साहन राशि देगी। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने फसल विविधीकरण के तहत मेरा पानी-मेरी विरासत योजना को खरीफ 2021 के लिए भी स्वीकृति प्रदान की है।
हरियाणा के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री जेपी दलाल ने शनिवार को कृषि विभाग के अधिकारियों की बैठक ली। उन्होंने कहा कि मेरा पानी-मेरी विरासत योजना में पंजीकरण कराने की अंतिम तिथि 15 जुलाई कर दी है। योजना पर लाभ लेने के लिए इच्छुक किसानों को मेरी फसल-मेरा ब्योरा पोर्टल पर पंजीकरण करना होगा। पहले पंजीकरण करवाने की अंतिम तिथि 25 जून थी। अब इसे आगे बढ़ाया गया है। सरकार ने मेरा पानी-मेरी विरासत योजना को मेरी फसल-मेरा ब्योरा पोर्टल से जोड़ा है।
धान के बजाय अन्य फसलों की बिजाई के लिए किसानों को प्रेरित करें। धान के बजाय पानी की बचत करने वाली फसलों की बिजाई करने पर प्रोत्साहन राशि मिलेगी। यह योजना पूरे राज्य में लागू होगी। इसके तहत किसानों को धान के स्थान पर वैकल्पिक फसलों (कपास, मक्का, दलहन, मूंगफली, तिल, ग्वार, अरंड, सब्जियां व फल) की बिजाई करनी होगी। इसके लिए प्रति एकड़ 7000 रुपये प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। बैठक में कृषि एवं किसान कल्याण विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ. सुमिता मिश्रा और महानिदेशक डॉ. हरदीप सिंह उपस्थित रहे।
हरियाणा सरकार बाजरा की जगह दलहन-तिलहन की खेती करने वाले किसानों को 4000 रुपये प्रति एकड़ प्रोत्साहन राशि देगी। बाजरे का उत्पादन कम करने व जल संरक्षण के मद्देनजर यह निर्णय लिया गया। सीएम ने कहा कि पानी के सीमित स्रोत को देखते हुए जल संरक्षण की तरफ बढ़ना होगा। सरकार ने मेरा पानी मेरी विरासत योजना की शुरुआत की, जिसके तहत किसानों को धान के स्थान पर अन्य वैकल्पिक फसलों की खेती करने का आह्वान किया था। पिछले वर्ष 94 हजार एकड़ भूमि पर धान नहीं बोया गया। इस वर्ष 2 लाख एकड़ का लक्ष्य रखा है।