
जन्मदिन विशेष : कैसे बने अजय सिंह बिष्ट उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ? राजनीतिक सफर
5 जून 2021 यह तारीख उत्तर प्रदेश के लोगों के लिए बहुत खास है क्योंकि इस दिन प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का जन्मदिन होता है . ऐसे में बहुत से लोग योगी आदित्यनाथ को तो जानते हैं लेकिन योगी आदित्यनाथ के सफर और उनकी इस कुर्सी तक पहुंचने तक की मेहनत को बहुत कम लोग ही जानते हैं। गोरखपुर में अपना सियासी परचम लहराने के बाद योगी आदित्यनाथ सूबे के मुख्यमंत्री बन गए।
योगी आदित्यनाथ शुरू से ही योगी आदित्यनाथ नहीं थे वह आदित्य सिंह बिष्ट थे, लोगों को उनके आदित्य सिंह बिष्ट से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बनने तक के सफर जानने में काफी रूचि है। ऐसा इसलिए भी है क्योंकि योगी आदित्यनाथ का काम करने का तरीका बेहद अलग है । मुद्दा सियासी हो तो योगी आदित्यनाथ की बेताबी भी चर्चा बटोरती रही। गोरखपुर की विकास यात्रा के साथ प्रदेश की विकास यात्रा की कमान संभालने वाले आदित्यनाथ को सियासत विरासत में मिली है.
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आज जब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ 48 साल के हो गए तो एक बार फिर चर्चा उनके सियासत और संन्यास के सफर की करना लाजमी है. वैसे भी बीते दिनों जिस तरह से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कोरोना महामारी के खिलाफ मोर्चा संभाला, उसने प्रदेश की जनता को नया हौसला दिया और सियासत को नया नजरिया भी.
प्रारंभिक जीवन

उत्तर प्रदेश के मौजूदा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ एक वक्त में उत्तराखंड के निवासी अजय सिंह बिष्ट हुआ करते थे । उनका जन्म 5 जून 1972 को उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल जिले स्थित यम्केश्वर तहसील के पंचूर गांव में हुआ था। हालांकि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अपने संन्यास से पहले का जन्मदिन नहीं मानते हैं योगी होने के नाते भी वह इन सब से दूर रहते हैं हर साल की तरह इस बार भी मुख्यमंत्री योगी बगैर किसी आयोजन से अपना रोजमर्रा का काम कर रहे हैं। हालांकि उनके लाखों प्रशंसक उन्हें उनके जन्मदिन की शुभकामनाएं देते हैं । इनके गोरखपुर में आने से लेकर मुख्यमंत्री बनने तक का सफर बेहद संघर्ष से भरपूर है।
राम मंदिर आंदोलन से जुड़ गए थे योगी
योगी आदित्यनाथ राम मंदिर आंदोलन से 90 के दशक में जुड़े थे जहां उनकी मुलाकात गोरखनाथ मंदिर के महंत अवैद्यनाथ से अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के एक कार्यक्रम में हुई थी, कुछ समय के बाद योगी अपने माता-पिता को बिना बताए गोरखपुर जा पहुंचे उन्होंने सन्यास धारण करने का निश्चित कर लिया और गुरु दक्षिणा ले ली महंता अवैद्यनाथ भी उत्तराखंड के ही रहने वाले थे जिन्होंने आदित्य सिंह बिष्ट को योगी आदित्यनाथ बना दिया।
1994 में लिया था सन्यास

आदित्य सिंह बिष्ट (योगी आदित्यनाथ) ने साल 1994 में दीक्षा ली थी जिसके बाद वह योगी आदित्यनाथ बन गए थे , महंत योगी आदित्यनाथ गोरक्षपीठाधीश्वर रहे ब्रह्मलीन महंत अवैद्यनाथ के शिष्य हैं। उन्होंने हिंदू युवा वाहिनी संगठन की शुरुआत की थी जो कि हिंदू युवाओं का सामाजिक सांस्कृतिक और राष्ट्रवादी समूह है वहीं अगर शिक्षा की बात की जाए तो योगी आदित्यनाथ ने हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल यूनिवर्सिटी से गणित से बीएससी किया है।
1998 से लेकर 2017 तक रहे गोरखपुर के सांसद
गोरखपुर के सांसद के रूप में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हर बार उभर कर सामने आए 1998 से लेकर साल 2017 तक योगी आदित्यनाथ गोरखपुर से सांसद रहे और हर बार उनकी जीत का आंकड़ा बढ़ता ही गया 2017 में उन्होंने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली और लोगों की सेवा में लग गए।
हर बार बने चर्चा का विषय

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कई बार चर्चा का विषय बने हैं सोशल मीडिया पर उनकी तस्वीरें काफी ज्यादा वायरल होती देखी जाती हैं एक तस्वीर में गोरखपुर में अपने ऑफिस में बैठे योगी आदित्यनाथ बंदर के साथ काम कर रहे हैं जिसकी फोटो किसी ने खींच ली जो सोशल मीडिया पर काफी वायरल हुई थी। यहीं नहीं थाइलैंड के एक पार्क में टाइगर के बच्चे को दूध पिलाते हुए योगी की तस्वीर सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुई थी। छोटे चीते के साथ लाड-प्यार दिखाते हुए योगी आदित्यनाथ ने लोगों से बाघों को बचाने की अपील भी की थी।
जनता से सीधा संवाद करते हैं योगी
कहते हैं कि मुख्यमंत्री योगी ने गोरखपुर मठ में अपनी एक अदालत भी बना रखी है जहां वह जनता से सीधा संवाद करते हैं 2017 में भारतीय जनता पार्टी को प्रचंड बहुमत मिली तो सीएम के लिए चेहरे कई थे लेकिन बाजी योगी आदित्यनाथ के हाथ लगी मुख्यमंत्री बनने के बाद उन्होंने फैसलों से अपनी राजनीतिक इच्छा को जाहिर कर दिया था ना कि प्रदेश के कई इन काउंटरों के कारण विपक्ष उनके ऊपर उंगली उठाते रहे लेकिन कानून व्यवस्था पर सख्त योगी पर इसका खास कोई प्रभाव नहीं पड़ा। कोरोना संकट में सीएम योगी सीधे तौर पर सक्रिय नजर आए हैं, जिससे उनकी लोकप्रियता में और भी इजाफा हुआ है।
सीएम योगी कांटेक्ट
उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ से संपर्क करना चाहते है तो उन्हें जनसुनवाई पोर्टल पर जाना होगा। ऑफिसियल वेबसाइट पर जाने के बाद आपके सामने होम पेज खुल जायेगा जिसमे आप को संपर्क करे के ऑप्शन पर क्लिक करना होगा। ऑप्शन पर क्लिक करने के बाद आपके सामने अगला पेज खुल जायेगा।
