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यूपी : मरीज एडमिट नहीं होने पर जिम्मेदारों पर करें सख्त कार्रवाई: सीएम योगी
सीएम योगी ने कहा कि वर्तमान परिस्थितियों में प्रदेश के अस्पतालों में ओपीडी सेवाएं स्थगित हैं। ऐसे में टेलीकन्सल्टेशन को बढ़ावा दिया जाए। कोविड होम आइसोलेशन और नॉन कोविड मरीजों के लिए विशेषज्ञ चिकित्सकों की सूची/संपर्क माध्यम का व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाए। सीएम योगी ने कहा कि इंटीग्रेटेड कमांड एन्ड कंट्रोल सेंटर से मरीज को जो अस्पताल आवंटित किया गया है, वहां उसे एडमिट करना अनिवार्य है। जिलाधिकारी यह सुनिश्चित कराएं। अन्यथा की दशा में जिम्मेदार के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए। मुख्यमंत्री कार्यालय से इसकी मॉनिटरिंग की जाए।
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मुख्यमंत्री ने शनिवार को वर्चुअल बैठक कर कोरोना से बचाव व इलाज के संसाधनो की भी समीक्षा की। उन्होंने कहा कि कोरोना की लड़ाई में हमारी तैयारी 10 कदम आगे की होनी चाहिए, तभी हम इस पर विजय प्राप्त कर सकते हैं। उन्होंने कोविड बेड की संख्या बढ़ाने, आक्सीजन और जीवनरक्षक दवाओं की अनवरत आपूर्ति बनाए रखने के निर्देश दिए। कहा कि लखनऊ, वाराणसी, प्रयागराज, कानपुर नगर, गोखरपुर, गाजियाबाद सहित सभी जिलाें में कोविड बेड की संख्या बढ़ाई जाए। साथ ही कोरोना संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आए शत-प्रतिशत लोगों की जांच कराई जाए।
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योगी ने कहा कि सभी जिलाें में आक्सीजन व जीवनरक्षक दवाओं की सुचारु आपूर्ति बनी रहे। यह सुनिश्चित किया जाए कि इनकी कालाबाजारी न होने पाए। इसके लिए खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन और पुलिस विभाग संयुक्त रूप से निगरानी करे। यह भी ध्यान रखें कि निजी अस्पताल मनमाना शुल्क न ले पाएं।
सीएम ने कहा कि ऑक्सीजन टैंकरों की संख्या बढ़ाये जाने के सम्बंध में विशेष प्रयास की जरूरत है। इसमें भारत सरकार से भी सहयोग प्राप्त किया जा सकता है। ऑक्सीजन टैंकर को जीपीएस से जोड़ते हुए इनके संचालन की ऑनलाइन मॉनिटरिंग की जाए।
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उन्होंने कहा कि कोई भी सरकारी अथवा निजी अस्पताल बेड उपलब्ध होने पर कोविड पॉजिटिव मरीज को भर्ती के लिए मना नहीं कर सकता है। यदि सरकारी अस्पताल में बेड उपलब्ध नहीं है, तो संबंधित अस्पताल उसे निजी चिकित्सालय में रेफर करेगा। निजी हॉस्पिटल में मरीज भुगतान के आधार पर उपचार कराने में यदि सक्षम नहीं होगा, तो ऐसी दशा में राज्य सरकार आयुष्मान भारत योजना के तहत अनुमन्य दर पर वहां उसके इलाज का भुगतान करेगी।