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UP Election 2022: इस दिन होगा सपा-रालोद गठबंधन का औपचारिक ऐलान

जाटलैंड की इन सीटों पर दोनों दलों में चल रही बात

मेरठ: उत्तर प्रदेश में आगामी 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव से पूर्व समाजवादी पार्टी राष्ट्रीय लोक दल के संभावित गठबंधन की खबरों के बीच दोनों पार्टियों के द्वारा 7 दिसंबर को दवा में एक बड़ी रैली का आयोजन किया जा रहा है। बता दें कि इस पहेली को परिवर्तन संकल्प रैली का नाम दिया गया है सूत्रों के मुताबिक इस रैली में सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव की शिरकत कर सकते हैं। वहीं पश्चिमी उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी और रालोद के बीच गठबंधन का औपचारिक ऐलान भी किया जा सकता है हालांकि कार्यकर्ता संभावित कार्यक्रम की रैली को लेकर तैयारियों में जुट गए हैं बता दें कि पहले राष्ट्रीय लोक दल की रैली 2 दिसंबर को संभावित थी लेकिन अब यह रैली 7 दिसंबर को होगी।

आपको बता दें कि सपा और रालोद के बीच अभी भी संभावित गठबंधन के सीटों के बंटवारे पर बात चल रही है। पार्टी सूत्रों के मुताबिक राष्ट्रीय लोक दल 50 सीटों की मांग कर रही है वहीं समाजवादी पार्टी वाला लूट के बीच 36 सीटों पर सहमति होने की बात निकल कर सामने आई वहीं दूसरी तरफ खबर सामने आ रही कि सपा रालोद को 15 सीटें देगी।

जाटलैंड की इन सीटों पर दोनों दलों में चल रही बात

आपको बता दें कि समाजवादी पार्टी संभावित गठबंधन हुआ तो पश्चिमी यूपी की कुल सीटें रालोद अपने पास रखना चाहेगा वही मेरठ की सरधना और सिवालखास सीट पर आलू दावा कर रहा है सरधना सीट पर समाजवादी पार्टी अपना दावा ठोक रही है। बागपत की तीनों सीटें जन अपने खाते में रखना चाहेंगे शामली जनपद में शामली और थानाभवन विधानसभा जैन अपनी तरफ लेना चाहेंगे कुछ इसी तरीके से पश्चिमी यूपी की कुछ सीटों पर सपा और रालोद के बीच सीटों को लेकर पेंच फसा है।

प्रत्याशी सिंबल भी बदल कर लड सकते हैं चुनाव

गौरतलब है कि पिछले लोकसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी ने बागपत से चुनाव लड़ रहे जंतर मुजफ्फरनगर से चुनाव लड़ रहे चौधरी अजीत सिंह को समर्थन किया था अखिलेश यादव ने बागपत की लैंग्वेज एंड के समर्थन में आयोजित रैली में भी हिस्सा लिया था। वही जानकारी के मुताबिक रालोद और सफर के बीच इस बार प्रत्याशियों सिंबल भी अदल बदल कर चुनाव लड़ने की संभावना है जिन सीटों पर दोनों दलों के बीच सहमत नहीं बन रही है वहां पर प्रत्याशी दूसरी पार्टी और सिंबल दूसरी पार्टी का हो सकता है ऐसे में दोनों दल अपने-अपने प्रत्याशियों को संतुष्ट करना चाहेंगे।

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