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अफ्स्पा में हो सकते है सकारात्मक बदलाव – सीएम हिमंत बिस्वा सरमा
असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने राज्य में सशस्त्र बल (विशेष अधिकार) अधिनियम अफ्स्पा को लेकर कहा कि, इस साल जहां उग्रवाद चरम पर हैं वहां कुछ सकारात्मक बदलाव हो सकते हैं। सीएम सरमा ने कहा कि अधिनियम के संबंध में कुछ सकारात्मक विकास जल्द ही पड़ोसी नगालैंड में भी होंगे। जहां यह लागू है।
असम के पांच-छह जिलों में ही सेना तैनात
उन्होंने कहा कि 5-6 जिलों को छोड़कर सेना लगभग असम से हट गई है। और जब 4 महीने के बाद अफ्स्पा का नवीनीकरण होगा, तो राज्य सरकार व्यावहारिक निर्णय ले सकती है। अफ्स्पा को अक्सर उत्तर पूर्व के राजनीतिक दल बेहद कठोर बताते हैं। क्योंकि यह अशांत क्षेत्रों में व्यवस्था बनाए रखने के लिए भारतीय सशस्त्र बलों को विशेष शक्तियां प्रदान करता है। और नागरिक समाज समूहों और अधिकार कार्यकर्ता इसकी वापसी की मांग करते आ रहे हैं।
साल 1990 से असम में लागू
सीएम सरमा ने कहा कि, राज्य में अफ्स्पा नवंबर 1990 से लागू है। और तब से राज्य सरकार की समीक्षा के बाद इसे हर 6 महीने के लिए बढ़ाया जाता है। जहां तक अफस्पा का संबंध है, असम में 2022 में कुछ युक्तिसंगत होगा, लेकिन यह कैसे और कब होगा नहीं जानता। लेकिन मैं एक आशावादी व्यक्ति हूं। हम 2022 को उम्मीद के रूप में देख रहे हैं।
अफ्स्पा को लेकर समिति गठित
अधिनियम के संबंध में कुछ सकारात्मक चीजें होंगी। नगालैंड में अफस्पा को जारी रखने पर उन्होंने कहा कि, केंद्र ने इस मामले में पहले ही एक समिति गठित कर दी है। समिति 45 दिनों में अपनी रिपोर्ट सौंप देगी और मुझे उम्मीद है कि कुछ सकारात्मक बदलाव होगा।