PM Modi ने लॉन्च की अमृत भारत रेलवे स्टेशन योजना, देश के 1309 स्टेशंस का होगा री-डेवलपमेंट
पहले फेज में 508 स्टेशन शामिल, सबसे ज्यादा 156 स्टेशंस यूपी के
नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को अमृत भारत रेलवे स्टेशन योजना को वर्चुअल माध्यम से लॉन्च किया। इसके तहत पूरे देश के 1309 रेलवे स्टेशंस को री-डेवलप किया जाएगा। इसके पहले चरण में 508 स्टेशनों को शामिल किया गया है, जो देश के 27 राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों में हैं।
अमृत भारत रेलवे स्टेशन योजना के पहले फेस में उत्तर प्रदेश और राजस्थान में 55-55, बिहार में 49, महाराष्ट्र में 44, पश्चिम बंगाल में 37, मध्य प्रदेश में 34, असम में 32, ओडिशा में 25, पंजाब में 22 व गुजरात और तेलंगाना में 21-21 स्टेशंस को विकसित किया जाएगा। इसके अलावा झारखंड में 20, आंध्र प्रदे और तमिलनाडु में 18-18, हरियाणा में 15 और कर्नाटक में 13 स्टेशंस को री-डेवलप किया जाएगा। इसमें कुल 24,470 करोड़ रुपये खर्च होंगे।
पीएम मोदी ने विपक्ष पर साधा निशाना
कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि हमारे देश में विपक्ष का एक धड़ा न काम करता है और न काम करने देता है। हमने संसद की नई बिल्डिंग बनाई, कर्तव्य पथ बनाया और नेशनल वॉर मेमोरियल बनाया तो हर बार विपक्ष ने इसका विरोध किया। हमने दुनिया की सबसे ऊंची स्टैच्यू ऑफ यूनिटी बनाई। कुछ पार्टियां चुनाव के समय तो सरदार पटेल को याद करती हैं, लेकिन उनके कोई भी बड़े नेता सरदार पटेल की प्रतिमा को नमन करने नहीं गए।
पीएम मोदी ने दावा करते हुए कहा कि साउथ कोरिया, ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड जैसे देशों में जितना टोटल रेलवे ट्रैक है, उससे अधिक रेलवे ट्रैक भारत में पिछले एक साल में बिछाया गया है। वहीं, यूक्रेन, दक्षिण अफ्रीफा, पोलैंड, स्वीडन और यूके जैसे देशों में जितना रेल नेटवर्क है, उससे ज्यादा रेल ट्रैक हमारे देश में पिछले 9 सालों में बिछाया गया है।
अगले 30 सालों की जरूरत के हिसाब से होगा री-डेवलपमेंट
वहीं, नॉर्थ रेलवे के जनरल मैनेजर शोभन चौधरी ने बताया कि हम इन स्टेशंस को अगले 30 सालों की जरूरतों को ध्यान में रखकर री-डेवलप करेंगे। रेलवे स्टेशंस को सिटी सेंटर के रूप में विकसित किया जाएगा। इस योजना के तहत गुजरात में गांधीनगर, मध्य प्रदेश में रानी कमलापति और कर्नाटक में सर एम विश्वेश्वरैया रेलवे स्टेशन को अपग्रेड किया जा चुका है।
योजना में सबसे ज्यादा 156 स्टेशन यूपी के शामिल
योजना के तहत विकसित किए जाने वाले कुल 1309 स्टेशंस में उत्तर प्रदेश के 156, महाराष्ट्र के 126, बंगाल के 98, बिहार के 92, गुजरात के 87, राजस्थान के 83, मध्य प्रदेश के 80, तमिलनाडु के 75, आंध्र प्रदेश के 72, झारखंड-ओडशिा के 57-57, कर्नाटक के 56, असम के 50, हरियाणा और तेलंगाना के 40-40, केरल 35, छत्तीसगढ़ के 32, पंजाब के 30, दिल्ली के 13, उत्तराखंड के 11 और जम्मू-कश्मरी के चार स्टेशन शामिल किए गए हैं। इन स्टेशंस की बिल्डिंग का डिजाइन स्थानीय संस्कृति, विरासत और आर्किटेक्चर के हिसाब से होगा। योजना में उन छोटे स्टेशंस को भी शामिल किया गया है, जहां यात्रियों की संख्या अधिक है, लेकिन विकास कम हुआ है।
यात्रियों को स्टेशंस पर दी जाएंगी ये सुविधाएं
स्टेशन के दोनों ओर से प्लेटफार्म पर यात्रियों की एंट्री और एग्जिट की सुविधा।
स्टेशन की बिल्डिंग में सुधार किया जाएगा।
स्टेशन पर ऑटोमैटिक सीढ़ियां बनाई जाएंगी।
बेहतर लाइट की व्यवस्था की जाएगी।
पार्किंग की सुविधा में सुधार किया जाएगा।
स्टेशन पर ग्रीन और रिन्यूएबल एनर्जी का इस्तेमाल होगा।
रूफ प्लाजा की व्यवस्था की जाएगी, जिससे यात्रियों को ट्रेन के इंतजार करने में परेशानी न हो।
रेलवे स्टेशंस को मेट्रो और बस स्टैंड से जोड़ा जाएगा।