मुंबई पुलिस ने BYJU’S के फाउंडर के खिलाफ दर्ज की एफआईआर
उन्हें क्रिमोफोबिया से एक पत्र मिला था जिसमें दावा किया गया था कि यूपीएससी से जुड़े हमारे पाठ्यक्रम में यूएनटीओसी को लेकर गलत जानकारी दी गई है।
एजुकेशनल ऐप BYJU’S के लिए मुश्किलें खड़ी हो गई हैं। मुंबई पुलिस ने फाउंडर रवींद्रन के खिलाफ केस दर्ज किया है। रवींद्रन के खिलाफ यूपीएसई पाठ्यक्रम में गलत जानकारी देने का आरोप लगाया गया है। उन पर आपराधिक साजिश के तहत केस दर्ज किया गया है। खबरों के मुताबिक, मुंबई पुलिस ने यह एफआईआर एक साइंस फर्म क्राइमोफोबिया की शिकायत पर दर्ज की गई है।
BYJU’S पर आरोप लगा है कि उसने यूपीएससी पाठ्यक्रम में कहा था कि केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआई यूएनटीओसी) की एक नोडल एजेंसी है, जबकि सीबीआई ने लिखित में साफ किया है कि वह यूएनटीओसी की नोडल एजेंसी नहीं है। आरे कॉलोनी पुलिस स्टेशन में रवींद्र के खिलाफ आईपीसी की धारा 120 बी और आईटी एक्ट की धारा 69 (A) के तहत केस दर्ज हुआ है। वहीं, BYJU’S के प्रवक्ता ने इस बारे मे कहा है कि वह टिप्पणी करने की स्थिति में नहीं हैं, क्योंकि उन्हें अभी तक एफआईआर की कॉपी नहीं मिली है।
उन्हें क्रिमोफोबिया से एक पत्र मिला था जिसमें दावा किया गया था कि यूपीएससी से जुड़े हमारे पाठ्यक्रम में यूएनटीओसी को लेकर गलत जानकारी दी गई है। जबकि गृह मंत्रालय के कागज बताते हैं कि आरोप गलत है। इसकी एक कॉपी भी क्राइमोफोबिया के साथ शेयर नहीं की गई है। वह जो भी जानकारी साझा करते हैं वह पुख्ता सोर्स पर ही आधारित होती है।
क्रिमोफोबिया के संस्थापक स्नेहिल ढल ने कहा, “मुझे मई में पता चला कि BYJU के यूपीएससी पाठ्यक्रम में सीबीआई को यूएनटीओसी की नोडल एजेंसी बताया गया है। सके बाद मैंने ईमेल के जरिए उनसे संपर्क किया तो उन्होंने मुझे गृह मंत्रालय का एक पत्र भेजा, जिसमें सीबीआई के नोडल एजेंसी होने की बात कही गई थी। लेकिन यह पत्र साल 2012 का था। मैं इससे संतुष्ट नहीं था और इसलिए फिर मैंने पुलिस का रुख किया और शिकायत दर्ज की।”
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