Uttar Pradesh
मांग दिवस के जरिए कर्मचारियों ने पीएम मोदी और सीएम योगी को भेजा मांग पत्र
लखनऊ: अखिल भारतीय राज्य सरकारी कर्मचारी महासंघ के आहवान पर पूरे देश के कर्मचारियों ने भोजनावकाश में जिला मुख्यालयों पर इकठ्ठा होकर मांग दिवस मनाया। लखनऊ में स्व बीएन सिंह की प्रतिमा स्थल पर इकठ्ठा होकर नौ बिंदु का मांग पत्र पुलिस कमिश्नर के माध्यम से प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री को भेजा गया। कार्यक्रम स्थल पर उपस्थ्ति कर्मचारी अपनी मांगों को लेकर अत्याधिक संवेदनशील रहे। पुरानी पेंशन योजना को बहाल करने, कोरोना काल में रोके गये भत्तों का बहाल करने, सरकारी विभागों में रिक्त पदों को भरने आदि मांगों को लेकर कर्मचारियों नारे लगाये।
मांग पत्र में मुख्य मांगे
- PFRDA रद्द करिए, परिभाषित लाभ पेंशन प्रणाली (पुरानी पेंशन) के तहत सभी कार्मिकों का नामांकन करिए।
- आउटसोर्सिग/संविदा/दैनिक वेतन भोगी कार्मिको को नियमित करते हुए वैधानिक भर्ती निकायों के माध्यम से सभी रिक्तियों को भरा जाए।
- सार्वजनिक उपक्रमों का निजीकरण बंद करें और सभी सरकारी विभागों का आकार छोटा करना व नेशनल मुद्रीकरण पाईपलाई (एनएमपी) को न किया जाए।
- संविधान के अनुच्छेद 310 और अनुच्छेद 311(2)(ए)(बी)(सी) को निरस्त किया जाए।
- आठवां वेतन आयोग की समिति का गठन किया जाए।
- चतुर्थ श्रेणी संवर्ग में नियुक्ति प्रारम्भ की जाए।
- दैनिक वेतन/वर्कचार्ज से नियमित हुए कार्मिकों के सेवानिवृत्ति के उपरांत उनकी दैनिक वेतन/ वर्कचार्ज के रूप में की गयी सेवा को जोड़ते हुए सेवानिवृत्ति/पेंशनरी लाभ प्रदान किये जाएं।
- कोरोना काल मे रोके गये मंहगाई भत्ते एवं अन्य भत्तों को बहाल किया जाए।
- उत्तर प्रदेश सरकार की स्थानांतरण नीति वर्ष 2023-24 के पैरा 12 में सेवा संघो के प्रांत/मण्डल/जनपद पदाधिकारी कार्मिक(अध्यक्ष/महामंत्री) को पद धारण करने की अवधि में स्थानांतरण से मुक्त रखते हुए पैरा-12 को निक्षेपित करके पूर्व की भांति इस व्यवस्था को बनाए रखा जाए।