
सीएम योगी के इस फैसले से कर्मचारियों में दौड़ी ख़ुशी की लहर, जानें क्या है मामला…
उन्होंने समय से पदोन्नति न होने से कार्मिकों के मनोबल पर पड़ने वाले प्रतिकूल असर का भी संज्ञान लिया।
लखनऊ: कर्मचारी शिक्षक संयुक्त मोर्चा की वर्चुअल बैठक में मुख्यमंत्री के फैसले का स्वागत किया गया है| दरअसल, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा रिक्त पदों को भरने का काम तेजी से और समयबद्ध ढंग से बढ़ाने का निर्देश दिया है। साथ ही मुख्यमंत्री ने पारदर्शी और भ्रष्टाचार मुक्त सुशासन का हवाला देते हुए अगले 100 दिनों में प्रदेश में कार्मिकों के पटल परिवर्तन की प्रभावी व्यवस्था लागू करने का निर्देश दिया है। उन्होंने कहा कि ज्येष्ठता आधारित विभागीय पदोन्नतियों में एकरूपता के लिए उपयुक्तता का मानक निर्धारित किया जाए। उन्होंने समय से पदोन्नति न होने से कार्मिकों के मनोबल पर पड़ने वाले प्रतिकूल असर का भी संज्ञान लिया। उन्होंने सभी विभागों के निर्देशित किया कि वे सभी विभागीय पदोन्नतियां 30 सितंबर तक सुनिश्चित करें।
बढ़ेगा कर्मचारियों का मनोबल
सीएम योगी के इस फैसले से कर्मचारी शिक्षक संयुक्त मोर्चा में ख़ुशी की लहर दौड़ उठी है।मोर्चा के महासचिव शशि कुमार मिश्रा ने आशा व्यक्त की है कि स्थानीय निकाय कर्मचारियों के पुनर्गठन व विनियमितिकरण एवं संविदा/आउटसोर्सिंग/दैनिक कर्मचारियों के नियमितीकरण, राजकीय निगम कर्मचारियों एवं विकास प्राधिकरण कर्मचारी संवरग के पुनर्गठन आदि के प्रकरण में राज्य सड़क परिवहन निगम सहित अन्य विभागों के संवर्ग की वेतन विसंगतियां एवं नियमावली प्राख्यापन के संबंध में मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित वेतन समिति की तत्काल बैठक करके निर्णय हो।
कर्मचारी शिक्षक संयुक्त मोर्चा के अध्यक्ष वीपी मिश्र एवं महासचिव शशि कुमार मिश्र, अतुल मिश्रा वरिष्ठ उपाध्यक्ष व महामंत्री राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद उप्र ने मुख्य सचिव एवं अपर मुख्यसचिव नियुक्त एवं कार्मिक के अथक प्रयासों का स्वागत करते हुए वेतन समिति की बैठक शीघ्र बुलाकर निर्णय करने का आग्रह किया है। चिकित्सा एवं स्वास्थ विभाग के डिप्लोमा फार्मासिस्ट, लैब टेक्नीशियन, ऑप्टोमेट्रिस्ट की वेतन विसंगति एवं राजकीय नर्सेज संघ के संवर्ग का कैडर पुनर्गठन केंद्र की भांति करके पदोन्नति करने पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है क्योंकि कोविड-19 महामारी में इस संवर्ग ने जान पर खेलकर मरीजों की रक्षा की है कुछ स्वयं भी संक्रमित होकर अपनी जान गवा चुके हैं। उनका मनोबल बढ़ाना उचित होगा।