झारखंड में केंद्र और राज्य के बीच छिड़ा संग्राम, 8 घंटे गायब रही HEC की बिजली !
झारखंड में अब बिजली को लेकर राज्य और केंद्र के बीच संग्राम शुरू हो गया है। सोमवार को केंद्र सरकार ने दामोदर वैली कॉर्पोरेशन (DVC) के बकाए राशि के लिए झारखंड सरकार के खाते से 714 करोड़ रुपए काटे। इसके जवाब में राज्य सरकार ने राशि की वसूली के लिए केंद्र सरकार के उपक्रम हैवी इंजीनियरिंग कॉर्पोरेशन (HEC) को 8 घंटे तक बिजली से वंचित रखा।
मंगलवार को दोपहर करीब 1.50 बजे HEC की बिजली काटी गयी और देर रात 10.50 बजे बहाल की गई। बिजली की व्यवस्था न होने के कारण HEC के तीनों प्लांटों की मशीनें बंद पढ़ गयी। इसके आलावा फर्नेश और दूसरी बड़ी मशीनों ने भी काम करना बंद कर दिया।
इसके परिणामस्वरूप HEC का बड़ा नुकसान हो गया। बात यह है कि, कुछ मशीनें ऐसी भी थी जिन्हें 24 घंटे चालू करना अनिवार्य था। बिजली न मिलने पर फर्नेश में विस्फोट होने की सम्भावना थी। इसके साथ फर्नेश में डाले गए उपकरणों का भी खराब होने का खतरा था। जानकारों के अनुसार HEC को 10 घंटे में ही लाखों रुपए का नुकसान उठाना पड़ा।
HEC के प्लांट में रक्षा, न्यूक्लियर, अंतरिक्ष, एवं रणनीतिक क्षेत्र वाले प्रमुख उपकरणों का काम चल रहा था। मंगलवार को बिजली काटे जाने के पश्चात् सारे काम प्रभावित हुए। काम रुकने से HEC संग रक्षा और अन्य मंत्रालयों की भी दिक्कतें बढ़ गयी। हालांकि HEC में पहले से ही कार्यशील पूंजी की कमी है। बिजली कटने से मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। मिली जानकारी के अनुसार HEC के कर्मचारी भी समय से वेतन न मिलने के कारण परेशान है।
बताया जा रहा है कि यह तीसरी बार है जब HEC की बिजली कटी है। 2 बार पहले भी वर्ष 2000 और 2001 में बिहार बिजली बोर्ड ने HEC की बिजली काटी थी। कार्यकर्ताओं और अन्य ननेताओं ने तब बिहार सरकार के खिलाफ आंदोलन छेड़ा था। आंदोलन के बाद बिहार राज्य बिजली बोर्ड ने बिजली की आपूर्ति फिर से आरम्भ कर दी थी।