यूपी : दस किलोमीटर तक एक्सप्रेसवे के किनारे बनाया जायेगा इंडस्ट्रियल कारिडोर
लखनऊ : पूर्वांचल तथा बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे का निर्माण कार्य पूरा होने वाला है। इनके किनारे अब इंडस्ट्रियल कारिडोर को विकसित करने की प्रक्रिया तेज हो चुकी है। विभागीय समीक्षा बैठक में औद्योगिक विकास मंत्री सतीश महाना ने कहा कि इंडस्ट्रियल कारिडोर दस किलोमीटर के दायरे में एक्सप्रेसवे के किनारे बनाया जाएगा।
यूपी एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीडा) एक नोडल एजेंसी होगा। उत्तर प्रदेश राज्य इसके लिए औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीसीडा) में तीन विशेषज्ञ को यूपीडा को सौंपेगा।
बुधवार को विधानभवन में बने सभाकक्ष में आयोजित बैठक में सतीश महाना द्वारा कहा कि उद्यमियों की सुविधा के लिए इंडस्ट्रियल कारिडोर में सड़क, बिजली और पानी समेत उच्च श्रेणी की सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। कंसल्टेंट की नियुक्ति भूमि अधिग्रहण में तेजी लाने के लिए की जा रही है।
उन्होंने निर्देश दिया कि, इंडस्ट्रियल कारिडोर के लिए एक्सप्रेसवे के किनारे दस किलोमीटर के भीतर ऐसे क्षेत्र को प्राथमिकता मिले, मुख्य सड़क से जिसकी कनेक्टिविटी हो और बिजली घर भी आसपास हो।
उन्होंने कहा कि एक्सप्रेसवे के दायरे में आने वाले इंडस्ट्रियल कारिडोर के लिए पूर्वांचल और बुंदेलखंड के 23 जिलों के जिलाधिकारियों को भूमि अधिगृहण के निर्देश दिए गए थे। 15 जिलों में इनमें से भूमि अधिग्रहण शुरू किया जा चुका है। लखनऊ के आसपास पेप्सिको जैसी कंपनियों ने उद्यम लगाने की इच्छा व्यक्त की है। आजमगढ़ में इसी तरह कई लाजिस्टिक कंपनियां भी निवेश करना चाहती हैं।