
हर वक्त मुस्लिम-यादव समीकरण की बात करने वाले लालू को जातीय जनगणना से क्या मतलब: BJP
बिहार में जातीय जनगणना का मुद्दा इन दिनों चरम पर है। आलम ऐसा हो गया है कि इस मुद्दे पर आज-कल बातें कम और कटाक्ष ज्यादा होने लग गया है।
बिहार में जातीय जनगणना का मुद्दा इन दिनों चरम पर है। आलम ऐसा हो गया है कि इस मुद्दे पर आज-कल बातें कम और कटाक्ष ज्यादा होने लग गया है। इसी क्रम में बात करे तो एक बार फिर से बीजेपी ने लालू यादव और राजद पर कटाक्ष किया है। दरअसल बीजेपी के प्रदेश कार्यालय में पहुंचे बिहार सरकार के सहकारिता मंत्री सुभाष सिंह ने ये पूछ दिया है कि MY समीकरण वाले लालू यादव को जातीय जनगणना से क्या मतलब है।
दरअसल गुरूवार को बीजेपी के प्रदेश कार्यालय में आयोजित सहयोग कार्यक्रम में बीजेपी के तीन मंत्री पहुंचे। इस दौरान बिहार सरकार के सहकारिता मंत्री सुभाष सिंह ने मीडियाकर्मियों से बात कि और उन्होंने जातिगत जनगणना के मुद्दे को लेकर कहा कि “लालू यादव राज्य के सत्ता में थे। लालू केंद्र में भी भागीदार थे। उस समय लालू को जातीय जनगणना की याद नहीं आई। जातिगत जनगणना से उन्हें क्या मतलब है। उन्हें तो MY समीकरण से मतलब है। MY को छोड़कर लालू को तीसरा कोई नजर नहीं आया। बीजेपी के सरकार में सबका साथ सबका विकास होता है। यही पीएम मोदी का नारा है।”
सहयोग कार्यक्रम में पहुंचे बिहार सरकार के गन्ना उद्योग मंत्री प्रमोद कुमार ने लालू प्रसाद यादव की मांग को लेकर कहा कि लालू यादव ने ट्विटर से जनगणना का बहिष्कार करने की बात कही है। उनके बात को गंभीरता से नहीं लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि लालू प्रसाद यादव मुद्दे पर बात नहीं करते प्रोपेगेंडा पर पैदा करते हैं। सस्ती लोकप्रियता के लिए लालू प्रसाद यादव बात करते हैं।
मंत्री ने कहा कि लालू यादव ने झारखंड बंटवारा ना होने की बात भी कही थी। उन्होंने कहा था कि झारखंड का बंटवारा मेरे लाश पर होगा। लालू प्रसाद यादव चारा घोटाले मामले में उसी झारखंड के जेल में रहें। अभी भी वह चारा घोटाले से बरी नहीं हुए हैं। मामला कोर्ट में चल रहा है।
सहकारिता मंत्री सुभाष सिंह ने साफ़ कहा कि वह जातीय जनगणना का समर्थन नहीं करते। उन्होंने कहा कि “देश में जाति जनगणना सिर्फ एक बार ही हुआ है। इसका दुष्प्रभाव देश पर पड़ा। इसलिए इसे रोक दिया गया होगा। जातीय जनगणना से ज्यादा जरूरी है। आर्थिक गरीबों की जनगणना होना। मैं जातीय जनगणना का समर्थन नहीं करता हूं। क्योंकि इसका दुष्प्रभाव समाज में होगा।”