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क्या है Biotech, यहां जानें पूरी जानकारी

बायो यानी जीवित प्रणाली और टेक्नोलॉजी मतलब तकनीक। इसके मुताबिक Biotech का मतलब है जीवित प्राणियों पर तकनीक का इस्तेमाल करना। किसी विशेष उत्पादों या पदार्थों को विकसित करने या बनाने के लिए जीवित प्रणालियों और जीवों का उपयोग किया जाता है, जिसे बायोटेक्नोलॉजी कहते हैं।

बायोटेक्नोलॉजी को हिंदी में जैव प्रौद्योगिकी कहा जाता है। Biotech को अकसर बायोइंजिनियरिंग (bio engineering), बायोमेडिकल इंजीनियरिंग (biomedical engineering), मॉलिक्यूलर इंजीनियरिंग (molecular engineering) इत्यादि के क्षेत्रों के साथ जोड़कर देखा जाता रहा है। हजारों सालों से, मानव जाति ने कृषि, खाद्य उत्पादन और दवा में जैव प्रौद्योगिकी का उपयोग किया है।

Biotech एक ऐसा विज्ञान है जो विभिन्न जैविक प्रक्रियाओं के माध्यम से नई तकनीक विकसित करने के लिए जीवों, कोशिकाओं और सेलुलर घटकों का Exploitation करता है. बायोटेक्नोलॉजी ने 1970 के दशक में लोकप्रियता हासिल की. कृषि, चिकित्सा, उद्योग और पर्यावरण अध्ययन के क्षेत्र में बायोटेक्नोलॉजी बहुत उपयोगी साबित होती है।

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भारत में Biotech ने काफी महत्वपूर्ण जगह बना ली है. इस फील्ड के तहत सभी संभावित फ़ील्ड्स जैसेकि, फार्मास्यूटिकल, फ़ूड मैन्युफैक्चरिंग, हेल्थकेयर, एग्रीकल्चर, एजुकेशन और रिसर्च से संबद्ध कार्य शामिल हो गये हैं. उक्त फ़ील्ड्स के अलावा भी अन्य कई फ़ील्ड्स में बायोटेक्नोलॉजी के योगदान को नज़रंदाज़ नहीं किया जा सकता है. चाहे वह बायोफ़र्टिलाइज़र्स, बायोपेस्टीसाइड्स, ग्रीन रेवोलुशन या आईटी की फ़ील्ड में रेवोलुशन लाने वाली बायोइन्फॉर्मेटिक्स से संबंधित मुद्दे हों, बायोटेक्नोलॉजी भारत के युवा वर्ग के लिए रोज़गार के ढेरों अवसर मुहैया करवा रही है. अब हम उन विभिन्न एरियाज का जिक्र करते हैं जिनमें बायोटेक्नोलॉजी पढ़ने वाले छात्रों के करियर के अभूतपूर्व विकास के लिए काफी संभावनाएं हैं.

1. मेडिकल राइटिंग्स

2. कॉलेज और विश्वविद्यालय

3. फार्मास्युटिकल कंपनियां

4. आईटी कंपनियां

5. हेल्थ केयर सेंटर्स

6. एग्रीकल्चर सेक्टर

7. एनिमल हसबेंड्री

8. जेनेटिक इंजीनियरिंग

9. रिसर्च लैबोरेट्रीज

10. फ़ूड मैन्युफैक्चरिंग इंडस्ट्री

सैलरी प्रॉस्पेक्ट्स

मेक इन इंडिया डॉट कॉम की रिपोर्ट के अनुसार, भारत विश्व के टॉप 12 Biotech डेस्टिनेशन्स में से एक है और एशिया पेसिफिक में इसका तीसरा रैंक है. इससे पता चलता है कि Biotech की फील्ड से प्रोफेशनल्स की मांग लगातार बढ़ रही है. भारत में 350 से ज्यादा बायोटेक्नोलॉजिकल कंपनियां हैं और बायोटेक में स्पेशलाइजेशन कोर्स करना अब काफी फायदेमंद साबित हो सकता है.

शैक्षणिक योग्यता 

12 वीं में आपका बॉयोलॉजी विषय होना अनिवार्य है तथा पोस्ट ग्रेजुएशन में प्रवेश पाने के लिए आपका ग्रैजुएट होना ज़रुरी है। 12 वीं के बाद आप बीई, बी एससी, बी टेक कर सकते है। ग्रेजुएशन के बाद स्टूडेंट मास्टर डिग्री की पढ़ाई कर सकते है। अगर आप मास्टर डिग्री कर रहे है तो इसके लिए बायोटेक्नोलॉजी या बायोलॉजी में किसी भी एक ब्रांच से ग्रेजुएशन होना चाहिए।

 ये हैं प्रमुख कॉलेज

भारत के कई संस्थान इस कोर्स को करवाते है। Biotech के अंडर ग्रैजुएट और मास्टर कोर्स देश के बहुत से संस्थानों में करवाए जाते है। आगे हम आपको  बायोटेक्नोलॉजी के कुछ प्रमुख कॉलेज के बारे में बता रहे है जहाँ से आप यह कोर्स कर सकते है।

  • देवी अहिल्या विश्वविद्यालय इंदौर मध्यप्रदेश
  • इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी मद्रास
  • बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय वाराणसी
  • इंस्टिट्यूट ऑफ़ केमिकल टेक्नोलॉजी मुंबई
  • राजीव गाँधी इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी एवं बायोटेक्नोलॉजी पुणे, महाराष्ट्र

बायोटेक इंजीनियर्स के लिए मशहूर फर्म्स

इंडियन ब्रांड इक्विटी फाउंडेशन अर्थात आईबीईएफ की सिफारिशों के अनुसार, बायोटेक इंजीनियर्स के करियर के शानदार विकास के लिए निम्नलिखित टॉप 10 फर्म्स विकास के अवसर ऑफर करती हैं:

1. बायोकॉन लिमिटेड

2. नेशनल डेरी डेवलपमेंट बोर्ड (एनडीडीबी) द्वारा संचालित इंडियन इम्यूनोलॉजिकल्स लिमिटेड (आईआईएल)

3. ग्लैक्सोस्मिथक्लिन फार्मास्यूटिकल्स लिमिटेड

4. ट्रांसएशिया बायो-मेडिकल्स

5. वॉकहार्ट

6. पिरामल ग्रुप

7. सेरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया लिमिटेड

8. रासी सीड्स(पी) लिमिटेड

9 शांथा बायोटेक्निक लिमिटेड

10. क्रेब्स बायोकेमिकल्स एंड इंडस्ट्रीज लिमिटेड (केबीआईएल)

आईबीईएफ द्वारा लिस्टेड कंपनियों में एग्रीकल्चर, डेरी, केमिकल्स, फार्मास्यूटिकल और अन्य कई फ़ील्ड्स शामिल हैं. ये कंपनियां प्रसिद्ध जॉब प्रोफाइल्स के साथ ही उभरते हुए बायोटेक्नोलॉजिस्ट्स को केवल जॉब्स के बेशुमार अवसर ही नहीं मुहैया करवाती हैं बल्कि, उन्हें विशेष इनोवेशन्स के लिए अवसर भी मुहैया करवाती हैं और ये इनोवेशन्स हमारे आजकल के काम करने के तरीकों में सकारात्मक बदलाव ला सकते हैं. 

बायोटेक्नोलॉजी स्ट्रीम पर और अधिक अपडेट्स प्राप्त करने के लिए, समय-समय पर jagranjosh.com पर विजिट करते रहें और सारी जानकारी एक ही साइट पर प्राप्त करें.

कोर्सेज के प्रकार और अवधि

बायोटेक्नोलॉजी एक प्रोमिसिंग कोर्स है जिसके तहत कई कोर्सेज और सिलेबस शामिल किये जा सकते हैं. इस स्ट्रीम में अपना करियर बनाने के इच्छुक कैंडिडेट्स 10 वीं क्लास (इंटरमिडीएट लेवल) की पढ़ाई पूरी करने के बाद भी यह कोर्स कर सकते हैं. इस कोर्स को पढ़ कर, समझकर और विश्लेषण करके आप काफी अच्छी जानकारी प्राप्त कर सकते हैं. आप इस कोर्स के तहत डॉक्टोरल डिग्री भी प्राप्त कर सकते हैं बशर्ते आप विज्ञान की इस ब्रांच में शामिल विभिन्न बारीकियों और विवरण का पता लगाना चाहते हों.

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डिप्लोमा कोर्सेज

बायोटेक्नोलॉजी में डिप्लोमा प्राप्त करने के लिए, छात्र उन कॉलेजों में इस कोर्स के लिए अप्लाई कर सकते हैं जो 10 वीं क्लास पास करने के बाद छात्रों को यह डिप्लोमा कोर्स ऑफर करते हैं. भारत में इस कोर्स की अवधि 3 वर्ष है. 

अंडरग्रेजुएट कोर्सेज

जो इंस्टिट्यूट्स और यूनिवर्सिटीज अंडरग्रेजुएट कोर्सेज ऑफर करते हैं, वहां आप बायोटेक्नोलॉजी में ग्रेजुएशन करने के लिए अप्लाई कर सकते हैं. इस अंडरग्रेजुएट कोर्स की अवधि 4 वर्ष है और छात्रों को इस अंडरग्रेजुएट कोर्स में एडमिशन लेने के लिए एक एंट्रेंस एग्जाम पास करना पड़ता है.

पोस्टग्रेजुएट कोर्सेज

पोस्टग्रेजुएशन के लेवल पर, इस कोर्स को अक्सर बायोटेक्नोलॉजी में एमटेक या बायोटेक्नोलॉजी में एमएससी के नाम से जाना जाता है. यह उस यूनिवर्सिटी या इंस्टिट्यूट पर निर्भर करता है जो कैंडिडेट्स को पोस्टग्रेजुएशन की डिग्री या डिप्लोमा ऑफर करता है. पोस्टग्रेजुएशन लेवल पर इस कोर्स की अवधि केवल 2 वर्ष है.

डॉक्टोरल प्रोग्राम्स

जो उम्मीदवार बायोटेक्नोलॉजी में डॉक्टोरल डिग्री हासिल करना चाहते हैं, वे अपनी पोस्टग्रेजुएशन पूरी करने के बाद पीएचडी कोर्सेज के लिए अप्लाई कर सकते हैं. पीएचडी कोर्सेज की अवधि आमतौर पर 3 से 4 वर्ष की होती है जो थीसिस पूरी करने के लिए शामिल रिसर्च वर्क पर निर्भर करती है. पीएचडी फुल टाइम और पार्ट टाइम तरीके से की जा सकती है.

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