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उत्तराखंड : भारत-चीन सीमा में टूटा ग्लेशियर, छह की गई जान

उत्तराखंड के चमोली जनपद से लगे भारत-चीन (तिब्बत) सीमा क्षेत्र सुमना में सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) के कैंप के समीप ग्लेशियर टूटकर मलारी-सुमना सड़क पर आ गया है। सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) के कमांडर कर्नल मनीष कपिल ने इसकी पुष्टि की है। 

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जोशीमठ से सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) की एक टीम मौके के लिए रवाना हो गई है। लगातार हो रही बारिश और बर्फबारी के कारण टीम को यहां पहुंचने में वक्त लग सकता है। इस इलाके में आबादी नहीं है और सिर्फ सेना की ही आवाजाही रहती है।

ग्लेशियर टूटने के घटना के बाद जोशीमठ से करीब 90 किलोमीटर दूर सुमना नामक स्थान की है। सीमा पर अंतिम चौकी बाड़ाहोती तक यहीं से होकर पहुंचा जाता है। दूरस्थ क्षेत्र होने के कारण यहां संचार नेटवर्क भी नहीं है। चमोली के जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी नंदकिशोर जोशी ने बताया कि बीआरओ के कमांडर मनीष कपिल के नेतृत्व में टीम मौके के लिए गई है। उन्होंने बताया कि उस क्षेत्र में सड़क निर्माण का कार्य चल रहा है। ऐसे में आशंका है कि कुछ श्रमिक वहां फंसे हो सकते हैं। 

मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने कहा कि उन्होंने इस मामले में जिला प्रशासन से रिपोर्ट मांगी है। वह स्वयं घटना पर निगाह रखे हुए हैं। कहा कि एनटीपीसी और अन्य परियोजनाओं में रात के समय काम रोकने के आदेश दिए गए हैं। घटना के बाद ऋषिकेश और हरिद्वार में भी अलर्ट जारी कर दिया गया है। मुख्यमंत्री ने आपदा ग्रस्त क्षेत्र का हवाई निरीक्षण किया। इस दौरान बताया गया कि आपदा ग्रस्त क्षेत्र में जगह-जगह भारी मात्रा में बर्फ है। बीआरओ सड़क खोलने में जुटा है। मुख्यमंत्री की सेना के अधिकारियों के साथ बैठक की।

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सीएम ने जारी किया अलर्ट, परियोजनाओं में रात में काम रोकने के निर्देश

सीएम तीरथ सिंह रावत ने घटना का संज्ञान लेकर तत्काल अलर्ट जारी कर दिया है। उन्होंने सोशल मीडिया पर जानकारी दी कि वे निरंतर बीआरओ और जिला प्रशासन के संपर्क में हैं। बताया कि अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि घटना की जल्द पूरी जानकारी पता कर सूचित करें। साथ ही एनटीपीसी और अन्य परियोजनाओं में रात में काम करने पर रोक लगाने के आदेश दिए गए हैं, ताकि कोई अप्रिय घटना न हो।

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