इंडिया राइज स्पेशल हँसता तो रोज हूं,मगर खुश हुए जमाना हो गया, जानते हैं जादुई शब्दों को लिखने वाले गुलजार साहब के बारे में The India Rise, 8 months ago 2 min read हवा के सींग न पकड़ों खदेड़ देती है, ज़मीं से पेड़ों के टांके उधेड़ देती है। कल्पना की ऐसी विचित्रता…